मल्टीलेयर फार्मिंग: किसान अपनाएं ये तकनीक, एक जगह उगाएं 4 फसलें, कई गुना बढ़ेगी कमाई

रायपुर : आजकल कई लोग खेती में नई तकनीक की मदद से तरह-तरह के प्रयोग करके लाखों रुपये कमा रहे हैं। अब ऐसी कई तकनीकें हैं जिनसे किसानों की आय बढ़ाई जा सकती है। यहां आज हम आपको ऐसी ही एक तकनीक के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसकी मदद से आप कम जगह में ज्यादा उपज प्राप्त कर सकते हैं। इस तकनीक को मल्टीलेयर फार्मिंग कहते हैं।

फ़ाइल फोटो

मल्टीलेयर फार्मिंग में आप एक ही जगह पर कई फसलें उगा सकते हैं। इससे उन किसानों को ज्यादा फायदा हो सकता है जिनके पास खेती के लिए जमीन कम है। देश में कई किसान इस तकनीक की मदद से एक ही जगह पर 3 से 4 फसलें उगा रहे हैं। आइए जानते हैं कि आप इस तकनीक का इस्तेमाल कैसे कर सकते हैं।

क्या है मल्टीलेयर फार्मिंग?

आपको बता दें कि देश में उपजाऊ कृषि भूमि की कमी और कृषि उत्पादों की भारी मांग को देखते हुए बहुपरत (Multilayer Farming) कृषि तकनीक विकसित की गई है। जैसा कि इसके नाम से पता चलता है, बहुपरत खेती एक ऐसी कृषि तकनीक है, जिसमें एक ही समय में एक ही स्थान पर कई प्रकार की खेती की जाती है। इसके लिए आपको सबसे पहले ऐसी फसल बोनी चाहिए जो जमीन के अंदर उगे। उसके बाद ऐसी फसलें बोई जाती हैं जो जमीन के निचले स्तर तक आ जाती हैं, फिर ऊंची फसलें बोई जाती हैं।

पानी की होती है कम खपत

मल्टीलेयर फार्मिंग तकनीक से खेती करने पर पानी की खपत काफी कम हो जाती है। जानकारों के मुताबिक इस खेती में 70 फीसदी तक पानी की बचत होती है. इसमें आपके द्वारा एक ही स्थान पर उगाई जाने वाली सभी फसलों के लिए अलग-अलग सिंचाई की आवश्यकता नहीं होती है। आप सभी फसलों को एक बार में पानी दे सकते हैं। साथ ही इस कृषि में एक फसल के लिए जितनी आवश्यकता होती है उतनी ही खाद भी डालनी पड़ती है। फसलों से अन्य फसलों के पोषक तत्व आपस में मिल जाते हैं।

कम जमीन वाले किसानों के लिए बेहद फायदेमंद

यह तकनीक उन छोटे और मध्यम वर्ग के किसानों के लिए बहुत फायदेमंद है जिनके पास खेती के लिए जमीन कम है। वे एक ही स्थान पर एक साथ कई अलग-अलग फसलों की खेती कर सकते हैं। इस तकनीक की मदद से खेती की लागत कम हो जाती है। साथ ही उपज और मुनाफा कई गुना बढ़ जाता है। जानकारों के मुताबिक अगर इस तकनीक से खेती करने में अगर किसी जमीन पर एक लाख रुपये की लागत आती है तो किसान आराम से 5 लाख रुपये तक मुनाफ़ा कमा सकता है।

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KR. MAHI

CHIEF EDITOR KAROBAR SANDESH

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