लैपटॉप, टैबलेट और पीसी के आयात पर सरकार का प्रतिबंध
नई/सूत्र: भारत सरकार ने लैपटॉप, टैबलेट और पर्सनल कंप्यूटर के आयात पर तत्काल प्रभाव से प्रतिबंध लगा दिया है। सरकार ने एक अधिसूचना जारी कर इसकी जानकारी दी है. किसी उत्पाद के आयात पर प्रतिबंध लगाने का मतलब है कि उन उत्पादों को विदेश से लाने के लिए लाइसेंस या सरकारी अनुमति आवश्यक होगी।
इससे सरकार के मेक इन इंडिया कार्यक्रम और स्थानीय विनिर्माण को बढ़ावा मिलने की उम्मीद है। इस फैसले से स्थानीय निर्माताओं और ऐसी विदेशी कंपनियों को फायदा होगा, जो देश में लगातार उत्पादन कर रहे हैं, स्थानीय आपूर्ति को बढ़ावा दे रहे हैं और दूसरे देशों को निर्यात भी कर रहे हैं। डेल और एचपी उन कंपनियों में से हैं जिनकी भारत में पहले से ही विनिर्माण सुविधाएं हैं।
इन चीजों को बैगेज में ले जाने पर कोई रोक नहीं
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय ने अधिसूचना में कहा, ‘एचएसएन 8741 के तहत आने वाले लैपटॉप, टैबलेट, ऑल-इन-वन पर्सनल कंप्यूटर और अल्ट्रा स्मॉल फॉर्म फैक्टर कंप्यूटर और सर्वर का आयात प्रतिबंधित रहेगा।’ हालांकि, यह प्रतिबंध उन यात्रियों पर लागू नहीं होगा जो अपने बैगेज में इन आइटम्स को साथ ले जा रहे हैं।
इसके अलावा लैपटॉप, टैबलेट, ऑल-इन-वन पर्सनल कंप्यूटर या अल्ट्रा स्मॉल फॉर्म फैक्टर कंप्यूटर के आयात पर भी यह प्रतिबंध लागू नहीं होगा। इसमें ई-कॉमर्स पोर्टल से पोस्ट या कूरियर के जरिए खरीदी गई वस्तुएं भी शामिल हैं। आयात पर लगने वाली फीस का भुगतान करना होगा. केंद्र सरकार ने विदेश व्यापार नीति में बदलाव करते हुए यह फैसला लिया है।
R&D जैसे काम के लिए आयात में छूट दी जाएगी
अनुसंधान और विकास, परीक्षण, मूल्यांकन, मरम्मत और पुनः निर्यात और उत्पाद विकास के उद्देश्य से प्रत्येक खेप में 20 ऐसी वस्तुओं के आयात पर छूट दी जाएगी। इन आयातों को केवल इस आधार पर अनुमति दी जाएगी कि उनका उपयोग इन उद्देश्यों के लिए किया जाएगा। ये उत्पाद बेचे नहीं जा सकते।
मंत्रालय ने कहा कि एक बार उद्देश्य पूरा हो जाने के बाद, उत्पादों को यूज से पहले नष्ट या फिर री-एक्सपोर्ट करना होगा। नोटिफिकेशन में यह भी कहा गया है, ‘प्रतिबंधित उत्पादों की मरम्मत और वापसी के लिए किसी लाइसेंस की आवश्यकता नहीं होगी।