प्रधानमंत्री ने छत्तीसगढ़ में लगभग 7500 करोड़ रुपये की विभिन्न विकास परियोजनाओं की रखी आधारशिला

रायपुर : प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार 07/07/2023 को छत्तीसगढ़ के रायपुर में लगभग 7500 करोड़ रुपये की विभिन्न विकास परियोजनाओं का शिलान्यास किया और इन्हें राष्ट्र को समर्पित किया। उन्होंने करीब 6,400 करोड़ रुपये की 5 राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास किया। प्रधानमंत्री ने 103 किलोमीटर लंबी रायपुर-खरियार रोड रेल लाइन के दोहरीकरण को भी राष्ट्र को समर्पित किया,  इसका निर्माण 750 करोड़ रुपये की लागत से किया गया है। केवटी-अंतागढ़ को जोड़ने वाली 17 किलोमीटर लंबी नई रेलवे लाइन 290 करोड़ रुपये की लागत से तैयार की गई है।

इसके अलावा, प्रधानमंत्री ने कोरबा में 130 करोड़ रुपये से अधिक की लागत से निर्मित 60 हजार मीट्रिक टन प्रति वर्ष की क्षमता वाले इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन के बॉटलिंग प्लांट को राष्ट्र को समर्पित किया। उन्होंने वीडियो लिंक के माध्यम से अंतागढ़-रायपुर ट्रेन को भी हरी झंडी दिखाई। इसके अतिरिक्त, प्रधानमंत्री ने आयुष्मान भारत के तहत लाभार्थियों को 75 लाख कार्डों के वितरण का शुभारंभ किया।

इस अवसर पर जनसभा को संबोधित करते हुए, प्रधानमंत्री ने कहा कि आज का अवसर छत्तीसगढ़ की विकास यात्रा के लिए बेहद महत्वपूर्ण है क्योंकि राज्य को बुनियादी ढांचे और कनेक्टिविटी जैसे क्षेत्रों में 7000 करोड़ से अधिक की विकास परियोजनाएं मिल रही हैं। उन्होंने उल्लेख किया कि आज की परियोजनाएं लोगों के जीवन को आसान बनाएंगी और राज्य में स्वास्थ्य सेवा प्रणाली को मजबूत करेंगी। उन्होंने जोर देते हुए कहा कि इन परियोजनाओं से राज्य में रोजगार के अवसर बढ़ेंगे, साथ ही छत्तीसगढ़ के धान किसानों, खनिज उद्योग और पर्यटन उद्योग को भी लाभ होगा। प्रधानमंत्री ने परियोजनाओं के लिए राज्य के लोगों को बधाई देते हुए कहा कि आज की परियोजनाएं छत्तीसगढ़ के जनजातीय क्षेत्रों में विकास और सुविधा की एक नई यात्रा को चिह्नित करेंगी।

प्रधानमंत्री ने कहा कि किसी भी क्षेत्र के विकास में देरी का सीधा संबंध बुनियादी ढांचे की कमी से है, इसलिए सरकार उन विशिष्ट क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे के विकास को प्राथमिकता दे रही है जो विकास के मामले में पीछे रह गए हैं। उन्होंने कहा कि बुनियादी ढांचे से अभिप्राय जीवन जीने में आसानी और व्यापार करने में आसानी से है। प्रधानमंत्री ने जोर देते हुए कहा कि बुनियादी ढांचे का अर्थ रोजगार के अवसरों और त्वरित गति से होने वाला विकास भी है। उन्होंने कहा कि आधुनिक बुनियादी ढांचे का विकास छत्तीसगढ़ में भी देखा जा सकता है, जहां पिछले 9 वर्षों में प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के तहत राज्य के हजारों जनजातीय गांवों तक सड़क संपर्क का विस्तार हुआ है।

उन्होंने कहा कि सरकार ने लगभग 3,500 किलोमीटर लंबे राष्ट्रीय राजमार्ग की परियोजनाओं को मंजूरी दी है, जिनमें से लगभग 3000 किलोमीटर का काम पूरा भी हो चुका है। प्रधानमंत्री ने यह भी बताया कि आज रायपुर-कोडेबोड़ और बिलासपुर-पथरापाली राजमार्ग का उद्घाटन किया गया है। उन्होंने कहा कि चाहे रेल हो, सड़क हो, दूरसंचार हो, सरकार ने पिछले 9 वर्षों में छत्तीसगढ़ में सभी प्रकार की कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने के लिए अभूतपूर्व कार्य किया है।

प्रधानमंत्री ने उल्लेख करते हुए कहा कि आधुनिक बुनियादी ढांचा सामाजिक न्याय से भी संबंधित है और आज की परियोजनाएं जिनमें सड़कें और रेलवे लाइनें शामिल हैं यह गरीबों, दलितों, पिछड़ों और जनजातियों की बस्तियों को जोड़ रही हैं और इससे मरीजों और महिलाओं के लिए अस्पतालों तक कनेक्टिविटी में सुधार होगा। उन्होंने कहा कि नौ साल पहले, छत्तीसगढ़ के 20 प्रतिशत से अधिक गांवों में किसी भी प्रकार की मोबाइल कनेक्टिविटी नहीं थी, जबकि आज यह संख्या घटकर लगभग 6 प्रतिशत रह गई है और क्षेत्र के किसान और मजदूर इसके सबसे बड़े लाभार्थी हैं। उन्होंने यह भी बताया कि इनमें से अधिकतर जनजातीय गांव जहां कनेक्टिविटी में सुधार हुआ है, वे गांव कभी नक्सली हिंसा से प्रभावित थे।

प्रधानमंत्री ने बताया कि सरकार बेहतर 4जी कनेक्टिविटी सुनिश्चित करने के लिए 700 से अधिक मोबाइल टावर लगा रही है। उन्होंने कहा कि लगभग 300 टावर पहले ही काम करना शुरू कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि जो जनजातीय गांव कभी मोबाइल कनेक्टविटी की सुविधाओं से वंचित थे, वे अब रिंगटोन की गूंज सुन सकते हैं। प्रधानमंत्री ने रेखांकित किया कि मोबाइल कनेक्टिविटी के आगमन से गांव के लोगों को बहुत से कार्यों में सहायता मिली है। प्रधानमंत्री ने कहा कि यह सामाजिक न्याय है और यह सबका साथ, सबका विकास है ।

प्रधानमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ दो आर्थिक गलियारों से जुड़ रहा है। उन्होंने जोर देते हुए कहा कि रायपुर-धनबाद आर्थिक गलियारा और रायपुर-विशाखापत्तनम आर्थिक गलियारा पूरे क्षेत्र की किस्मत बदलने जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि आर्थिक गलियारे उन आकांक्षी जिलों से होकर गुजर रहे हैं जिन्हें कभी पिछड़ा कहा जाता था और जहां कभी हिंसा और अराजकता हावी थी। उन्होंने कहा कि आज जिस रायपुर-विशाखापत्तनम आर्थिक गलियारा का शिलान्यास किया गया है, वह इस क्षेत्र की नई जीवन रेखा बनेगा क्योंकि रायपुर और विशाखापत्तनम के बीच का सफर आधा हो जाएगा।

उन्होंने यह भी बताया कि 6-लेन सड़क धमतरी के धान बेल्ट, कांकेर के बॉक्साइट बेल्ट और कोंडागांव के हस्तशिल्प की समृद्धि को देश के अन्य हिस्सों से जोड़ेगी। प्रधानमंत्री ने वन्यजीवों की सुविधा के लिए सुरंगों और पशु मार्गों के निर्माण की भी सराहना की क्योंकि यह सड़क वन्यजीव क्षेत्र से होकर गुजरेगी। श्री मोदी ने कहा कि दल्ली राजहरा से जगदलपुर तक रेल लाइन और अंतागढ़ से रायपुर तक सीधी ट्रेन सेवा से दूर-दराज के इलाकों तक यात्रा करना आसान हो जाएगा।

प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार नए अवसरों का सृजन करने और प्राकृतिक संपदा के क्षेत्रों में अधिक उद्योग स्थापित करने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने पिछले 9 वर्षों में इस दिशा में किए गए प्रयासों का उल्लेख किया, जिसने छत्तीसगढ़ में औद्योगीकरण को नई ऊर्जा दी है। उन्होंने बताया कि सरकार की नीतियों के कारण छत्तीसगढ़ में राजस्व के रूप में धनराशि में वृद्धि हुई है। उन्होंने कहा कि खासकर खान और खनिज अधिनियम में बदलाव के बाद छत्तीसगढ़ को रॉयल्टी के रूप में अधिक धन मिलना शुरू हो गया है।

प्रधानमंत्री ने बताया कि 2014 से पहले के चार वर्षों में छत्तीसगढ़ को रॉयल्टी के रूप में 1300 करोड़ रुपये मिले थे, जबकि 2015-16 से 2020-21 के बीच राज्य को लगभग 2800 करोड़ रुपये मिले। उन्होंने कहा कि डिस्ट्रिक्ट मिनरल फंड में बढ़ोतरी से खनिज संपदा वाले जिलों में विकास के काम में तेजी आयी है। उन्होंने कहा कि बच्चों के लिए स्कूल हों, लाइब्रेरी हों, सड़कें हों, पानी की व्यवस्था हो, अब ऐसे अनेक विकास कार्यों में डिस्ट्रिक्ट मिनरल निधि की धनराशि खर्च की जा रही है।

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KR. MAHI

CHIEF EDITOR KAROBAR SANDESH

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