आरबीआई ने दो सहकारी बैंकों पर लगाई पाबंदियां, कहीं आपका पैसा भी जमा तो नही
मुंबई: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने उत्तर प्रदेश में दो सरकारी बैंकों पर कई तरह की पाबंदियां लगा दी हैं. इनमें ग्राहकों द्वारा बैंक से निकासी की सीमा भी शामिल है। रिजर्व बैंक ने कहा कि ये प्रतिबंध इन बैंकों की बिगड़ती वित्तीय स्थिति को देखते हुए लगाए गए हैं। ये दोनों बैंक लखनऊ अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक और अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, सीतापुर हैं। बैंकिंग विनियमन अधिनियम के तहत प्रतिबंध छह महीने तक लागू रहेंगे। दोनों बैंक आरबीआई की अनुमति के बिना उधार नहीं दे सकते और न ही कोई निवेश कर सकते हैं।
केंद्रीय बैंक के बयान के मुताबिक, लखनऊ अर्बन कोऑपरेटिव बैंक के ग्राहक 30,000 रुपये से ज्यादा की निकासी नहीं कर पाएंगे. दूसरी ओर अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, सीतापुर के मामले में निकासी की सीमा प्रति ग्राहक 50,000 रुपये है। साथ ही, दोनों बैंक आरबीआई की अनुमति के बिना उधार नहीं दे सकते और न ही कोई निवेश कर सकते हैं। आरबीआई ने हाल ही में कई सहकारी बैंकों पर प्रतिबंध लगा दिया है। केंद्रीय बैंक ने हाल ही में मुंबई के रायगढ़ सहकारी बैंक पर कुछ प्रतिबंध लगाए थे। इसके साथ ही महाराष्ट्र के नासिक जिला गिरना सहकारी बैंक और कर्नाटक के मल्लिकार्जुन पट्टाना सहकारी बैंक पर भी प्रतिबंध लगाए गए थे। इन बैंकों की बिगड़ती वित्तीय स्थिति को देखते हुए भारतीय रिजर्व बैंक ने यह कदम उठाया था।
आरबीआई कार्रवाई क्यों करता है?
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) द्वारा समय-समय पर बैंकों पर अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाती रही है। नियमों का उल्लंघन करने और अन्य कारणों से बैंकों के खिलाफ ऐसी कार्रवाई की जाती है। हाल ही में कुछ राष्ट्रीयकृत बैंकों पर भारी जुर्माना लगाया गया है। उनके काम में कई कमियां पाई गईं। इसलिए केंद्रीय बैंक ने उन पर जुर्माना लगाया है।